अहसास.....
कौन है वो,जो हर वक्त मेरे पास है
जिंदगी के हर मोड पर मेरे साथ है ,
छेड़ जाता है चुपके से मन में कोई ख्याल वो,
उलझ के रह जाता है मन जब कभी ख्यालों में
धीरे से आकर कह जाता कानो में कुछ बात वो
,
कभी परेशान होकर नजरें ढूडती है जब उसे
हर पल उसका स्पर्श मह्सूस होता है मुझे,
क्यों तेरी बेचैन नजरे ढूडती है मुझे
-
मै तो तेरे पास हूँ, मै तेरे साथ हूँ ,
मै कोई गैर नहीं तेरा अहसास हूँ,.....
धीरेन्द्र भदौरिया,...
bahut khubsurat se hai ye ahsas....
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